MP Weather News : मध्य प्रदेश के कई जिलों में बारिश का अलर्ट, जानें कैसा रहेगा आपके क्षेत्र का मौसम
मध्य प्रदेश में नवंबर में बारिश और ठंड का मिश्रण देखने को मिल सकता है. यह मौसम का एक ऐसा पैटर्न है जो पिछले 10 वर्षों से जारी है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने भी नवंबर के पहले सप्ताह में भारी बारिश की भविष्यवाणी की है.
मौसम विभाग ने रतलाम, झाबुआ, अलीराजपुर और बड़वानी के लिए अलर्ट जारी किया है, जिसमें अगले 24 घंटों में 4.5 इंच तक भारी बारिश की चेतावनी दी गई है.
इस बीच, नीमच, मंदसौर, उज्जैन, इंदौर, खरगोन, बुरहानपुर, श्योपुर, मुरैना, छिंदवाड़ा, पांढुर्ना, सिवनी, मंडला और बालाघाट में हल्की बारिश हो सकती है. भोपाल में बादल छाए रहने और शाम को हल्की बारिश होने की संभावना है.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक
अनुसार पिछले 24 घंटों के दौरान, भोपाल, इंदौर, नर्मदापुरम, उज्जैन, ग्वालियर, चंबल, जबलपुर, सागर संभागों में कुछ स्थानों पर वर्षा दर्ज की गई. रीवा, शहडोल संभागों में कुछ स्थानों पर वर्षा हुई और राज्य के अन्य संभागों में मौसम शुष्क रहा.
पिछले 24 घंटों में, शहडोल संभाग के जिलों में अधिकतम तापमान में 2.6 डिग्री सेल्सियस की उल्लेखनीय गिरावट दर्ज की गई और शेष संभागों के जिलों में कोई उल्लेखनीय परिवर्तन नहीं हुआ.
भोपाल, इंदौर, उज्जैन, ग्वालियर, चंबल, रीवा, शहडोल, सागर संभागों के जिलों में तापमान सामान्य से 5.6 डिग्री सेल्सियस से 10.2 डिग्री सेल्सियस तक कम रहा. नर्मदापुरम, जबलपुर संभागों के जिलों में तापमान सामान्य से 3.0 डिग्री से 3.7 सेल्सियस तक कम रहा. पिछले 24 घंटों में, राज्य के सभी संभागों में न्यूनतम तापमान में कोई उल्लेखनीय परिवर्तन दर्ज नहीं किया गया.
भोपाल, इंदौर, चंबल संभागों के जिलों में तापमान सामान्य से 1.8 डिग्री सेल्सियस से 2.8 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा. उज्जैन, ग्वालियर, रीवा, जबलपुर, सागर संभागों के जिलों में सामान्य से 3.1 डिग्री सेल्सियस से 4.6 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा, नर्मदापुरम, शहडोल संभागों के जिलों में सामान्य से 6.1 डिग्री सेल्सियस से 8.0 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा.
नवंबर के पहले सप्ताह में बारिश का अनुमान
मौसम विभाग का कहना है कि नवंबर के पहले सप्ताह में बारिश जारी रहेगी, जबकि दूसरे सप्ताह में उत्तरी हवाओं के तेज होने से शीत लहर चलेगी. आईएमडी भोपाल के अनुसार मानसून की वापसी के बाद चक्रवाती परिसंचरण, निम्न दबाव वाले क्षेत्र और अवदाब के कारण भारी वर्षा हुई. उन्होंने कहा, “राज्य में सामान्य से 121% अधिक बारिश हुई, पूरे अक्टूबर में लगातार तूफ़ान, बिजली गिरने और बादल छाए रहे.”
अक्टूबर के अंतिम सप्ताह में, तेज मौसमी प्रणालियों के कारण नर्मदापुरम, श्योपुर, मुरैना और भिंड के कुछ हिस्सों में भारी बारिश और तूफान आया, जिससे कई खेतों में खड़ी फ़सलों को नुकसान पहुंचा.
भारत मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, मध्य प्रदेश में नवंबर के दूसरे सप्ताह से ठंड बढ़ने लगेगी. ग्वालियर-चंबल क्षेत्र में सबसे पहले ठंड का एहसास होने की उम्मीद है, क्योंकि ठंडी उत्तरी हवाएं इन क्षेत्रों को सीधे प्रभावित करती हैं, जिससे तापमान में तेजी से गिरावट आती है.
भोपाल, इंदौर और जबलपुर जैसे शहरों में आमतौर पर नवंबर के दौरान कुछ बारिश होती है. इस वर्ष भी पहले सप्ताह में वर्षा होने की संभावना है, तथा सक्रिय मौसम प्रणालियों के कारण तीसरे और चौथे सप्ताह में फिर से वर्षा होने की संभावना है.

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